फसल बीमा का समाधान: अब फोन पर भी उपलब्ध |pradhanmantri fasal bima helpline number and whatsapp number.

pradhanmantri fasal bima helpline number and whatsapp number टोल-फ्री नंबर (14447),किसान व्हाट्सएप नंबर 7065514447 पर संदेश भेजकर अपनी शिकायत दर्ज कर सकते हैं। official website :- https://pmfby.gov.in/

भारत एक कृषि प्रधान देश है, जहां किसान दिन-रात मेहनत करके देश को खाद्य सुरक्षा प्रदान करते हैं। लेकिन प्राकृतिक आपदाओं की मार अक्सर उनकी मेहनत पर पानी फेर देती है। इसी समस्या का समाधान करने के लिए केंद्र सरकार ने प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना की शुरुआत की। यह योजना किसानों को उनकी फसल के नुकसान की भरपाई के लिए वित्तीय सहायता प्रदान करती है।

हालांकि, फसल बीमा योजना के तहत क्लेम प्राप्त करने में किसानों को कई बार कठिनाइयों का सामना करना पड़ता है। इन चुनौतियों को कम करने और बीमा क्लेम प्रक्रिया को आसान बनाने के लिए सरकार ने कई नई डिजिटल और टेलीफोनिक सेवाएं शुरू की हैं। अब किसान टोल-फ्री नंबर, क्रॉप इंश्योरेंस एप और व्हाट्सएप जैसी सुविधाओं का उपयोग करके अपनी समस्याओं का समाधान पा सकते हैं।

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प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना: एक परिचय

प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना 2016 में शुरू की गई थी। इसका उद्देश्य किसानों को प्राकृतिक आपदाओं से होने वाले फसल नुकसान की भरपाई करना और उनकी आर्थिक स्थिरता बनाए रखना है। यह योजना छोटे और सीमांत किसानों के लिए विशेष रूप से लाभकारी है।

मुख्य विशेषताएं:

  1. प्राकृतिक आपदाओं का कवरेज:
  • बेमौसम बारिश
  • सूखा
  • बाढ़
  • चक्रवात
  • ओलावृष्टि
  • आगजनी और कीट संक्रमण
  1. बुवाई से कटाई तक कवरेज:
    यह योजना फसल की बुवाई से लेकर कटाई तक के नुकसान की भरपाई करती है।
  2. कटाई के बाद कवरेज:
    कटाई के बाद खेत में रखी गई फसल को यदि नुकसान होता है, तो यह योजना 14 दिनों तक उसका भी कवरेज प्रदान करती है।
  3. लंबी अवधि:
    केंद्र सरकार ने इस योजना को 2025-26 तक बढ़ा दिया है।
  4. बजट प्रावधान:
    इसके लिए ₹69,515.71 करोड़ का प्रबंध किया गया है, जो योजना की स्थिरता को सुनिश्चित करता है।
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फसल बीमा क्लेम प्रक्रिया को आसान बनाने के लिए नई सुविधाएं

सरकार ने फसल बीमा क्लेम के लिए आधुनिक तकनीकों और डिजिटल साधनों का उपयोग किया है, जिससे किसानों को कम से कम झंझटों का सामना करना पड़े।

1. टोल-फ्री नंबर (14447):

  • किसान इस नंबर पर कॉल करके अपनी समस्याएं दर्ज करा सकते हैं।
  • यह सुविधा 24 घंटे और 7 दिन उपलब्ध है।
  • शिकायत दर्ज कराने के लिए किसान को अपना नाम, पता, फोन नंबर और बीमा योजना की जानकारी देनी होगी।

2. क्रॉप इंश्योरेंस एप:

  • किसान इस एप को अपने स्मार्टफोन में डाउनलोड करके बीमा क्लेम की जानकारी प्राप्त कर सकते हैं।
  • यह एप किसानों को बीमा क्लेम प्रक्रिया में मदद करता है और उन्हें अपनी शिकायतों का फॉलो-अप करने की सुविधा प्रदान करता है।

3. व्हाट्सएप सेवा:

  • किसान व्हाट्सएप नंबर 7065514447 पर संदेश भेजकर अपनी शिकायत दर्ज कर सकते हैं।
  • इस सेवा का उपयोग करना सरल और तेज है।

4. कृषि रक्षक पोर्टल और चैट बॉक्स:

  • सरकार ने एक ऑनलाइन पोर्टल और चैट सुविधा भी उपलब्ध कराई है, जहां किसान अपनी समस्याएं दर्ज करा सकते हैं।
  • यह पोर्टल शिकायत दर्ज करने और उसका समाधान प्राप्त करने के लिए एक प्रभावी साधन है।

शिकायत दर्ज करने की प्रक्रिया

फसल बीमा क्लेम के लिए किसान को निम्नलिखित जानकारी देनी होगी:

  • किसान का पूरा नाम
  • फोन नंबर
  • पता (गांव और जिला समेत)
  • संबंधित बीमा योजना का विवरण

महत्वपूर्ण निर्देश:

  • अधूरी जानकारी देने पर शिकायत दर्ज नहीं होगी।
  • किसान को सुनिश्चित करना होगा कि सभी आवश्यक जानकारी सही और पूर्ण हो।

किसानों के लिए नि:शुल्क सेवा

सरकार ने यह सुनिश्चित किया है कि फसल बीमा क्लेम प्रक्रिया के लिए किसानों से कोई अतिरिक्त शुल्क न लिया जाए।

  • स्थानीय भाषा में सुविधा:
    किसान अपनी क्षेत्रीय भाषा में सहायता प्राप्त कर सकते हैं।
  • 24×7 सेवा:
    टोल-फ्री नंबर और अन्य डिजिटल सेवाएं दिन-रात उपलब्ध हैं।

फसल बीमा योजना का महत्व

फसल बीमा योजना किसानों के लिए न केवल वित्तीय सुरक्षा का साधन है, बल्कि यह उनकी मेहनत और फसल को एक नई उम्मीद भी देती है। यह योजना प्राकृतिक आपदाओं के दौरान किसानों के जीवन और उनकी आजीविका को बचाने में मदद करती है।

निष्कर्ष

फसल बीमा योजना अब पहले से अधिक सुलभ और प्रभावी बन गई है। सरकार द्वारा उपलब्ध कराई गई टोल-फ्री नंबर, क्रॉप इंश्योरेंस एप, व्हाट्सएप सेवा और कृषि रक्षक पोर्टल जैसी सुविधाओं ने बीमा क्लेम प्रक्रिया को बेहद आसान बना दिया है। किसानों को अब किसी भी समस्या के लिए अधिकारियों के चक्कर लगाने की जरूरत नहीं है।

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